रायपुर: बारिश के मौसम में कई पक्षी रास्ता खो बैठते हैं या उनका घोंसला टूट जाता है, ऐसे में उन्हें सुरक्षित ठिकाने की आवश्यकता होती है इसलिए शहर के लोग अपने घर की बालकनी, हॉल और गार्डन के पेड़ों पर कृत्रिम घोंसले बनाकर सेटअप तैयार कर रहे हैं, ताकि बारिश के मौसम में पक्षियों को अस्थायी आश्रय मिल सके। इससे पक्षियों को बारिश के कुछ महीने अस्थाई तौर पर आश्रय मिल सकेगा। सोसायटियों में चाहे गर्मी हो या बरसात का मौसम, शहरवासियों में पक्षियों के केयर को लेकर पहले से जागरूकता काफी बढ़ी है।
पक्षियों के लिए घर पर बनाए घोंसले:
जिसे घर के हॉल के एक सुरक्षित कोने में रखा गया है। साथ ही, उन्होंने गार्डन के कई पेड़ों पर घोंसले भी लटकाए हैं। उन्होंने बताया कि वे हमेशा से ही पक्षियों की देखभाल के प्रति सजग और समर्पित रही हैं।
अनुपमा तिवारी ने घर और गार्डन में पक्षियों के लिए बनाए घोंसले:
सोसाइटी निवासी अनुपमा तिवारी ने बताया कि उन्होंने अपने घर पर घास-फूस, गत्ते, रसियों और नारियल के उपयोग के बाद बचे हिस्सों का इस्तेमाल कर पक्षियों के लिए घोंसला बनाया है, जिसे घर के हॉल के एक सुरक्षित कोने में रखा गया है। साथ ही, उन्होंने गार्डन के कई पेड़ों पर घोंसले भी लटकाए हैं। उन्होंने बताया कि वे हमेशा से ही पक्षियों की देखभाल के प्रति सजग और समर्पित रही हैं। गर्मी हो या बरसात, पश्चियों को दाने, अनाज आंगन व छत पर रोजाना डालना नहीं भूलती। पक्षियों के लिए अस्थाई घोंसले का सेटअप घर पर तैयार बहुत मुश्किल नहीं है और हर कोई खाली या छुट्टी के दिन आसानी से घोंसला आसपास उपलब्ध सामग्री से तैयार कर सकता है।
बच्चों और पालतू जानवरों से बचाने की जरूरत:
घरों में पक्षियों के लिए अस्थाई घोंसला सेटअप तैयार करते हुए इस बात का ध्यान रखना जरूरी है कि बच्चे और पालतू जानवर घोंसले के पास न पहुंच सकें। बालकनी, बरामदे या किसी शांत कोने में हर कोई एक थोड़ा प्रयास कर बारिश में भटके हुए पक्षियों को एक सुरक्षित और आरामदायक अस्थाई आश्रय प्रदान कर सकते हैं। हम 'सबकी यह थोड़ी-सी कोशिश इन नन्हे जीवों की जान बचा सकती है।
रस्सी के सहारे मजबूती से बांध कर लटकाएं:
गते के डिब्बे, प्लास्टिक की बोतल या कंटेनर को शेप देकर इसके अंदर सूखी घास, पत्तियां, मुलायम कपड़े के टुकड़े और थोड़ी कपास बिछा दें। इसे बहुत कसकर न भरें, पक्षियों को इसे अपने हिसाब से बनाने दें। घौंसले को ऐसी जगह पर रखें, जहां वह स्थिर रहे और हवा या किसी हलचल से गिरे नहीं। इसे रस्सी से मजबूती से बांध कर लटकाएं।
पक्षियों के लिए दाना-पानी की व्यवस्था भी:
घोंसले के साथ-साथ पक्षियों के लिए थोड़ा भोजन व पानी की व्यवस्था भी किया जा रहा है। चावल के दाने (कच्चे), बाजरा डाल रहे हैं। भोजन सूखा हो और खराब न हो. इसको लेकर भी ध्यान रखा जा रहा है। पक्षी घोंसले का समय-समय पर साफ-सफाई भी हो रही है, ताकि कोई बीमारी पक्षियों में न फैले।