भोपाल। राजधानी में आवारा कुत्तों के काटने से एक और बच्चे की मौत के बाद लोगों को खासतौर पर बच्चों को काटने की लगातार बढ़ रहीं घटनाओं को लेकर बुधवार को वैटनरी डॉक्टर हरकत में आ गए। नगर निगम ने शहर की रहवासी समितियों के लिए बुधवार को एक प्रजेंटेशन कार्यक्रम आयोजित कियाए जिसमें वैटनरी डॉक्टरों ने आवारा कुत्तों से बचने की सलाह दी। इस मौके पर शहर की कई प्रमुख रहवासी समितियों के लोग मौजूद थे।
वैटनरी डॉक्टर एसके श्रीवास्तव ने हरिभूमि से चर्चा करते हुए कहा कि मौसम में बदलाव और भूख के कारण आवारा कुत्ते खौफनाक हो रहे हैं। इनसे बचने का एक मात्र उपाए है कि पैट लवर्स अपने क्षेत्र के आवारा कुत्तों को गोद लें। शासन ने भी इसी तरह की एडवाइजरी की है। सबसे ज्यादा जरूरी है कि बच्चों को इनसे दूर रखा जाए। क्योंकि यह मौसम ब्रीडिंग सीजन भी होता है।
पिछले हफ्ते जारी की थी एडवाइजरी
पिछले दिनों जिला प्रशासन द्वारा निगम के सहयोग से एडवाइजरी जारी की गई थी। यह एडवाइजरी रहवासी समितियों व शहर के अन्य लोगों के लिए थी। इस एडवाइजरी की खास बिंदुओं के अनुसार बच्चों को समझाइश दें कि आवारा श्वानों से समुचित दूरी बनाकर चलें। साथ ही ऐसी फीमेल जिसके पास उसके बच्चे हो, उससे भी दूरी बनाकर रहें। अन्यथा असुरक्षित महसूस करने व अपने बच्चों को बचाने के चक्कर में वह काट सकती है। उन पर पत्थर और लात न मारें। तीव्र ध्वनि के पटाखे से भी वो भौंकते हैं।
बीच रास्ते में न रखें खाना
डॉ श्रीवास्तव ने बताया कि कुत्तों का भोजन सड़क या बीच रास्ते में न रखें। इसके लिए स्थान तय करें और इससे बच्चों की दूरी बनाए रखें। नगर निगम द्वारा आवारा कुत्तों को पकड़ कर एबीसी सेंटर भेजा जा रहा है। इनका इलाज भी किया जा रहा है। जल्दी ही इनकी आबादी पर कंट्रोल किया जा रहा है।