सोशल मीडिया पर एक हैरान करने वाली खबर वायरल हो रही है, जिसमें एक टेक कंपनी ने दावा किया है कि उन्होंने 450 उम्मीदवारों का इंटरव्यू लेने के बाद एक भी कैंडिडेट को सिलेक्ट नहीं किया। वजह? लगभग सभी कैंडिडेट्स ने कोडिंग टास्क में AI (Artificial Intelligence) टूल्स का उपयोग किया था, लेकिन बेसिक सवालों के जवाब देने में असफल रहे।
20 लाख रुपये तक की पेशकश थी सैलरी:
कंपनी ने लिंक्डइन पर जूनियर फ्रंटएंड/बैकएंड डेवलपर और QA रोल्स के लिए वैकेंसी निकाली थी। कुल 12,000 आवेदन मिले थे, जिनमें से 10,000 को शुरुआती स्क्रीनिंग में बाहर कर दिया गया। बचे हुए कैंडिडेट्स में से 450 का इंटरव्यू लिया गया, लेकिन एक भी उम्मीदवार चयनित नहीं हो सका। https://games.comp-sc.if.ua/ कंपनी के मुताबिक, योग्य कैंडिडेट को डिग्री और अनुभव के आधार पर 20 लाख रुपए तक की सैलरी ऑफर की जाती।
AI इस्तेमाल की इजाजत थी – लेकिन समझ नहीं थी:
एक अनाम कंपनी प्रतिनिधि ने बताया कि उम्मीदवारों को इंटरव्यू के दौरान ChatGPT जैसे AI टूल्स के इस्तेमाल की अनुमति दी गई थी। लेकिन जब उनसे उनके लिखे गए कोड के बेसिक कॉन्सेप्ट्स समझने के लिए सवाल किए गए, तो ज्यादातर कैंडिडेट्स जवाब नहीं दे सके। इससे यह साफ हुआ कि अधिकतर ने AI से कोड जनरेट करके सीधे कॉपी-पेस्ट किया था, बिना उसे समझे।
लोगों ने उठाए कंपनी पर सवाल:
इस घटना पर सोशल मीडिया पर तीखी बहस शुरू हो गई। कई यूजर्स ने कंपनी की हायरिंग स्ट्रैटेजी पर सवाल खड़े करते हुए कहा कि 450 इंटरव्यू के बाद भी कोई योग्य कैंडिडेट न मिलना दर्शाता है कि इंटरव्यू प्रोसेस में कुछ खामी हो सकती है। कुछ लोगों ने सलाह दी कि कंपनी को अपनी हायरिंग पद्धति में बदलाव लाना चाहिए।
कुछ यूजर्स ने किया कंपनी का समर्थन:
वहीं, कुछ यूजर्स ने कंपनी का पक्ष लेते हुए कहा कि AI का इस्तेमाल एक सपोर्ट टूल के तौर पर ठीक है, लेकिन मूलभूत जानकारी और स्किल की समझ होना जरूरी है। उन्होंने लिखा कि आजकल कई लोग AI पर पूरी तरह निर्भर हो रहे हैं, जो लंबे समय में उनके करियर के लिए नुकसानदायक हो सकता है।