जशपुर: मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने कहा है कि रक्तदान केवल जीवन बचाने का कार्य नहीं, बल्कि यह मानवता की सेवा का सर्वोच्च उदाहरण है। वे जशपुर जिले के ग्राम बगिया में भारतीय रेडक्रॉस सोसायटी द्वारा आयोजित रक्तदान और स्वास्थ्य जागरूकता कार्यक्रम को संबोधित कर रहे थे।
मुख्यमंत्री ने कार्यक्रम के दौरान ‘रक्त-मित्र’ डायरेक्ट्री का लोकार्पण करते हुए इसे एक ऐतिहासिक और अभिनव पहल करार दिया। उन्होंने कहा कि यह डायरेक्ट्री ज़रूरतमंद मरीजों को सीधे रक्तदाताओं से जोड़ने का सरल माध्यम बनेगी। “इस तरह की पहलें समाज में सहयोग, संवेदनशीलता और मानव सेवा की भावना को और मजबूत करती हैं,” उन्होंने कहा।
स्वैच्छिक रक्तदान को बताया पुण्य कार्य
मुख्यमंत्री साय ने अपने संबोधन में रक्तदाताओं की खुले दिल से सराहना की और उन्हें प्रमाणपत्र प्रदान कर सम्मानित भी किया। उन्होंने कहा कि “स्वैच्छिक रक्तदाता वास्तव में वो देवदूत हैं जो दूसरों को जीवनदान देकर ईश्वर तुल्य कार्य करते हैं।” उन्होंने यह भी कहा कि "रक्त का कोई विकल्प नहीं है, और समय पर रक्त मिलना कई बार जीवन और मृत्यु का अंतर तय करता है।"
‘रक्त-मित्र’ डायरेक्ट्री: जीवनरक्षक सुविधा अब एक कॉल दूर
‘रक्त-मित्र’ डायरेक्ट्री जिला प्रशासन और रेडक्रॉस सोसायटी जशपुर की संयुक्त पहल है, जिसमें 480 सक्रिय स्वैच्छिक रक्तदाताओं के नाम और मोबाइल नंबर शामिल हैं। आवश्यकता पड़ने पर, मरीज या परिजन सीधे इनसे संपर्क कर सकते हैं। अगर कोई नया रक्तदाता इस मुहिम से जुड़ना चाहे, तो डायरेक्ट्री में दिए QR कोड को स्कैन कर गूगल फॉर्म भर सकता है या कलेक्ट्रेट कार्यालय में संपर्क कर सकता है।
राज्य सरकार स्वास्थ्य सेवाओं के विस्तार को लेकर प्रतिबद्ध
मुख्यमंत्री ने यह भी दोहराया कि उनकी सरकार गुणवत्तापूर्ण और समयबद्ध स्वास्थ्य सेवाएं प्रदान करने को लेकर पूरी तरह प्रतिबद्ध है। उन्होंने हाल ही में शुरू की गई नई एम्बुलेंस सेवाओं का उल्लेख करते हुए कहा कि “स्वास्थ्य सेवा हर नागरिक का अधिकार है और हमारी सरकार इसे हर व्यक्ति तक पहुंचाने के लिए कार्य कर रही है।”
कार्यक्रम में कई प्रमुख जनप्रतिनिधियों की उपस्थिति
इस गरिमामयी अवसर पर सरगुजा विकास प्राधिकरण की उपाध्यक्ष गोमती साय, जशपुर विधायक रायमुनी भगत, जिला पंचायत अध्यक्ष सालिक साय, नगर पालिका अध्यक्ष अरविंद भगत, कलेक्टर रोहित व्यास, एसएसपी शशि मोहन सिंह सहित बड़ी संख्या में जनप्रतिनिधि, अधिकारी और स्थानीय नागरिक मौजूद रहे।