
बीजिंग: दुनिया में टेक्नोलॉजी कितनी तेजी से आगे बढ़ रही है, इसका एक शानदार उदाहरण हाल में चीन में देखने को मिला है। यहां दुनिया का ऐसा फुटबॉल मैच खेला गया, जो इंसानों के बीच नहीं, बल्कि एआई (आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस) से चलने वाले ह्यूमनॉइड रोबोट्स के बीच हुआ। ये दुनिया का पहला फुटबॉल मैच बन गया जो ह्यूमनॉइड रोबोट्स ने खेला।
कैसे काम कर रहे थे रोबोट:
इस मैच में दो टीमों ने हिस्सा लिया, दोनों में 3-3 हह्यूमनॉइड रोबोट थे। मैच में इंसानों की तरह रोबोट्स बॉल के पीछे दौड़े, गोल किए और यहां तक कि गोल करने के बाद हाथ उठाकर जश्न भी मनाया। इन रोबोट्स को इंसानों ने नहीं, बल्कि एआई-बेस्ड एल्गोरिदम कंट्रोल किया गया। ये खुद बॉल को देख सकते थे, अपने आप मैदान में घूम सकते थे, मिरने पर खुद उठ सकते थे। हालांकि कुछ रोबोट्स को स्टाफ को स्ट्रेचर पर बाहर ले जाना पड़ा। सबसे खास बात येथी कि कोई इंसानी दखल नहीं था, सब कुछ पूरी तरह ऑटोनोमस था। इन रोबोट्स को बूस्टर रोबोटिक नाम की एक कंपनी ने चनाया था।
किसने जीता ये मैच:
चाइनीज न्यूज नेटवर्क के मुताबिक है, चीन की दो यूनिवर्सिटीज ने इसमें हिस्सा लिया, जिसमें शिधुआ यूनिवर्सिटी बीजिंग इनफर मेशन साइंस एंड टेक्नोलॉजी यूनिवर्सिटी शामिल थे। शिशुआ यूनिवर्सिटी की टीम का नाम था वाल्कन था और उन्होंने इस मैच में जीत हासिल की। बूस्टर रोबोटिक्स के सीईओ चेंग हाओ के मुताबिक, स्पोर्ट्स सेक्टर में रोबोट्स की पावर को रियल टाइम सिचुारशन में टेस्ट किया जा सकता है। इससे हार्डवेयर और सॉफ्टवेयर दोनों में सुधार होता है।
मैच कराने का उद्देश्य:
एंटरटेनमेंट के तौर पर नहीं देखा गया, बल्कि इसका मकसद एआई की डिसीजन मेकिंग पावर को दिखाना था। रोबोट्स के बैलेस, एमिलिटी और फ्रिडम को चेक करना था। इसके अलावा एआई टेक्नोलॉजी बिना इंसानी मदद के कैसे खेल सकती है। मैच में बहुत ज्यादा एक्शन नहीं था लेकिन टेक्नोलॉजी के मामले में ये बड़ी अचीवमेंट मानी जा सकती है। ये एक ट्रायल मैच था और माना जा रहा है कि आगे चलकर वर्ल्ड ह्यूमानाइड रोबोट गेम्स बीजिंग में आयोजित किए जाएंगे। इसमें और भी एडवांस रोबोट्स देखने को मिलेंगे जो फ्यूचर में खेल की दुनिया को बदल सकते हैं।